गायों के भरण पोषण लिए योगी सरकार ने बढ़ाया भत्ता, गौ पालन को पाठ्यक्रम में शामिल करने की तैयारी

गायों के भरण पोषण लिए योगी सरकार ने बढ़ाया भत्ता, गौ पालन को पाठ्यक्रम में शामिल करने की तैयारी

गायों के भरण पोषण लिए योगी सरकार ने बढ़ाया भत्ता : महाकुंभ नगर, 9 फरवरी: उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने गौवंश संरक्षण की दिशा में एक और बड़ा कदम उठाया है। महाकुंभ नगर में शनिवार, 8 फरवरी को आयोजित उच्चस्तरीय बैठक में सरकार ने प्रदेश में गौशालाओं को मिलने वाले भत्ते में गायों के भरण पोषण लिए योगी सरकार ने बढ़ाया भत्ता का निर्णय लिया है। साथ ही, सरकार अब स्कूली शिक्षा में “गौ पाठ्यक्रम” को शामिल करने की तैयारी कर रही है।

गौशालाओं के लिए बढ़ा भत्ता


बैठक में यह निर्णय लिया गया कि प्रदेश की गौशालाओं को मिलने वाली आर्थिक सहायता को बढ़ाया जाएगा, जिससे गायों के चारे, दवा और देखभाल की व्यवस्था को और अधिक सुदृढ़ किया जा सके। यह फैसला उन निराश्रित और बेसहारा गायों की बेहतरी के लिए लिया गया है, जो सड़कों पर भटकने को मजबूर होती हैं। इस योजना के तहत प्रत्येक गौशाला को अतिरिक्त धनराशि दी जाएगी, ताकि वहां रह रही गायों को उचित देखभाल मिल सके।गायों के भरण पोषण लिए योगी सरकार ने बढ़ाया भत्ता .

स्कूलों में गौ पाठ्यक्रम की योजना

गायों के भरण पोषण लिए योगी सरकार ने बढ़ाया भत्ता


सरकार ने बैठक में यह भी प्रस्ताव रखा कि प्रदेश के स्कूलों में गाय और गौ-संरक्षण से संबंधित पाठ्यक्रम को शामिल किया जाए। इसका उद्देश्य विद्यार्थियों को भारतीय संस्कृति में गौ माता के महत्व और उनके संरक्षण के प्रति जागरूक करना है। प्रस्ताव के अनुसार, गौ पाठ्यक्रम में गायों की वैज्ञानिक, धार्मिक और आर्थिक महत्ता को विशेष रूप से शामिल किया जाएगा।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का बयान


इस अवसर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा, “गाय केवल धार्मिक आस्था का प्रतीक नहीं, बल्कि हमारी अर्थव्यवस्था, कृषि और पर्यावरण के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण है। गौसंरक्षण से न केवल ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी, बल्कि जैविक खेती को भी बढ़ावा मिलेगा।”

बैठक में शामिल प्रमुख अधिकारी


इस बैठक में पशुपालन विभाग, शिक्षा विभाग और अन्य संबंधित विभागों के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे। गौशालाओं को भत्ता बढ़ाने और गौ पाठ्यक्रम को स्कूलों में लागू करने के प्रस्ताव को जल्द ही कैबिनेट में अंतिम स्वीकृति के लिए प्रस्तुत किया जाएगा।

सरकार के इन फैसलों से न केवल गौसंरक्षण को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि आने वाली पीढ़ियों में भी गायों के प्रति संवेदनशीलता विकसित होगी। अब देखना होगा कि यह योजना किस रूप में लागू की जाती है और इसका कितना प्रभाव पड़ता है।

उत्तर प्रदेश में सरकार द्वारा निराश्रित गायों के भरण पोषण के लिए दी जाने वाली राशि को 30 रुपए से बढ़कर ₹50 करने का निर्णय लिया गया है, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सरकार ने गोपालन को पाठ्यक्रम में शामिल करने का निर्णय लिया है शनिवार को उत्तर प्रदेश के पशुधन एवं दुग्ध विकास विभाग की आम बैठक महाकुंभ नगर में हुई यह बैठक विभाग के मंत्री धर्मपाल सिंह की और अध्यक्षता में हुई इस बैठक में निर्णय लिया गया है की वृहद को संरक्षण केदो की निर्माण लागत 120 लख रुपए से बढ़कर 160.12 लख रुपए करते हुए 543 वृहद को संरक्षण केदो के निर्माण की स्वीकृति प्रदान की गई है सूत्र सुंदरी जानकारी के अनुसार इस बैठक में यह विचार किया गया है कि गए और गोपालन को स्कूल पाठ्यक्रम में शामिल करने के लिए प्रदेश सरकार इस पर जनता से विचार कर रही है जिस गाय और गाय के दूध के महत्व के संबंध में बच्चों को सभी जरूरी व आवश्यक जानकारियां मिल सके।

प्रदेश के सभी जिलों में संचालित गो संवर्धन कोष की धनराशि से राज्य के राज्य मार्ग और नेशनल हाईवे के किनारे पशुपालकों की पशुओं में रेडियम बेल्ट वर्क को आश्रय स्थलों में सीसीटीवी कैमरे भी लगाए जाएंगे तथा प्रदेश के सभी जिलों में गोबर गोमूत्र से विभिन्न उत्पाद विकसित करने की तकनीक पर ध्यान दिया जाएगा और उसे पर काम किया जाएगा तथा को आश्रय स्थल संचालकों को इसका प्रशिक्षण भी दिया जाएगा इस बैठक में यह बताया गया कि इस प्रदेश सरकार ने गायों को संरक्षण को प्राथमिकता देते हुए 7713 को आश्रय स्थलों में 1243623 निराश्रित गायों को आश्रय प्रदान किया है

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